श्रीहनुमान पूजन की विधि

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देव मूर्ति के स्नान के लिए तांबे का पात्र, तांबे का लोटा, जल का कलश, दूध, देव मूर्ति को अर्पित किए जाने वाले वस्त्र व आभूषण। सिंदूर, दीपक, तेल, रुई, धूपबत्ती, फूल, चावल। प्रसाद के लिए फल, मिठाई, नारियल, पंचामृत, सूखे मेवे, शक्कर, पान, दक्षिणा ।

सकंल्प

पूजन शुरू करने से पहले सकंल्प लें। संकल्प करने से पहले हाथों में जल, फूल व चावल लें। सकंल्प में जिस दिन पूजन कर रहे हैं उस वर्ष, उस वार, तिथि उस जगह और अपने नाम को लेकर अपनी इच्छा बोलें। अब हाथों में लिए गए जल को जमीन पर छोड़ दें।

संकल्प का उदाहरण

जैसे 4/4/2015 को श्री हनुमान का पूजन किया जाना है। तो इस प्रकार संकल्प लें। मैं (अपना नाम बोलें ) विक्रम संवत् 2072 को, चैत्र मास के पूर्णिमा तिथि को, शनिवार को, हस्त नक्षत्र में, भारत देश के मध्यप्रदेश राज्य के उज्जैन शहर में महाकाल तीर्थ में इस मनोकामना से (मनोकामना बोलें ) श्री हनुमान का पूजन कर रहा हूं।

श्री रामदूत हनुमान के पूजन की विधि

सर्वप्रथम गणेश पूजन करें। गणेश जी को स्नान कराएं। वस्त्र अर्पित करें। गंध, पुष्प , धूप ,दीप, अक्षत से पूजन करें। अब राम जी के दूत हनुमान जी का पूजन करें। महावीर को स्नान कराएं। स्नान पहले जल से फिर पंचामृत से और वापिस जल से स्नान कराएं।
 
वस्त्र अर्पित करें। वस्त्रों के बाद आभूषण पहनाएं। अब पुष्पमाला पहनाएं। अब तिलक करें। ऊँ ऐं हनुमते रामदूताय नमः मंत्र का उच्चारण करते हुए हनुमान जी को सिंदूर का तिलक लगाएं। अब धूप व दीप अर्पित करें। फूल अर्पित करें। श्रद्धानुसार घी या तेल का दीपक लगाएं। आरती करें। आरती के पश्चात् परिक्रमा करें। अब नेवैद्य अर्पित करें। फल, मिठाई, पान का बीड़ा अर्पित करें। पूजन के समय ऊँ ऐं हनुमते रामदूताय नमः मंत्र का जप करते रहें।
श्रीगणेश पूजन विधि
Significance of Aarti

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