सनातन धर्म में तुलसी की पूजा करना शुभ माना गया है। धार्मिक दृष्टि के अलावा आयुर्वेद में भी तुलसी के कई लाभ बताए गए हैं। तुलसी के पौधे में धन की देवी मां लक्ष्मी का वास होता है। धार्मिक मान्यता के अनुसार जिस घर में तुलसी का पौधा होता है वहां मां लक्ष्मी का आगमन होता है और परिवार के सदस्यों पर मां का आशीर्वाद बना रहता है।
सनातन धर्म में तुलसी के पौधे को पवित्र और पूजनीय माना गया है। यह पौधा अधिकतर हिंदुओं के घर में पाया जाता है। तुलसी के पौधे में धन की देवी मां लक्ष्मी का वास होता है। धार्मिक मान्यता के अनुसार, जिस घर में तुलसी का पौधा होता है, वहां मां लक्ष्मी का आगमन होता है और परिवार के सदस्यों पर मां का आशीर्वाद बना रहता है। साथ ही सभी तरह की परेशानियों से मुक्ति मिलती है। तुलसी पूजा से संबंधित कुछ नियम बताए गए हैं, जिनका पालन करने से घर में सकारात्मक ऊर्जा का संचार होता है। ऐसे में आइए जानते हैं कि रविवार और एकादशी के दिन तुलसी की पूजा क्यों नहीं करनी चाहिए?
प्राचीन समय से घर में तुलसी लगाने और पूजा करने की परंपरा चली आ रही है। माना जाता है कि घर में तुलसी का पौधे के होने से सुख-शांति का वास होता है और वास्तु दोष से छुटकारा मिलता है।
इस तिथि पर तुलसी में अर्पित न करें जल (Tulsi Puja Ke Upay)
शास्त्रों के अनुसार, एकादशी तिथि पर तुलसी में जल अर्पित और पूजा नहीं करनी चाहिए। मान्यता के अनुसार, एकादशी तिथि भगवान विष्णु को समर्पित है। मां लक्ष्मी एकादशी का व्रत रखती हैं। यही वजह है कि एकादशी पर तुलसी पूजा और जल नहीं देना चाहिए। ऐसा करने से मां लक्ष्मी का व्रत खंडित होता है। मां लक्ष्मी के नाराज होने से जीवन में कई समस्याएं उत्पन्न सकती हैं।
रविवार को न दें तुलसी पौधे में पानी (Tulsi Tips)
वैसे तो तुलसी के पौधे की पूजा रोजाना करने का विधान है, लेकिन धार्मिक मान्यताओं की मानें तो रविवार और मंगलवार के दिन तुलसी के पौधे को छूना नहीं चाहिए और न ही जल अर्पित करना चाहिए। पौराणिक मान्यताओं के मुताबिक, रविवार के दिन जगत के पालनहार भगवान विष्णु के लिए तुलसी माता निर्जला व्रत रखती हैं। इसलिए रविवार के दिन तुलसी में जल देने से उनका व्रत खंडित हो जाता है।
Shree Ayodhya ji Shradhalu Seva Sansthan राम धाम दा पुरी सुहावन। लोक समस्त विदित अति पावन ।।