हीरा शुक्र ग्रह का रत्न है, जो प्रेम, सौंदर्य और भौतिक सुखों का कारक हैं। हीरा पहनने से भौतिक सुख-सुविधाएं, करियर में स्थिरता और वैवाहिक जीवन में मधुरता आती है। ज्योतिषी की सलाह के बाद ही हीरा पहनना चाहिए। आइए जानते हैं कि हीरा (Diamond) किस राशि के लिए पहनना शुभ माना जाता है?
हीरा को रत्नों का राजा कहा जाता है। यह केवल एक सुंदर रत्न नहीं, बल्कि ज्योतिष में यह शुक्र ग्रह (Venus) का प्रतिक माना गया है। शुक्र ग्रह को प्रेम, सौंदर्य, ऐश्वर्य और भौतिक सुख-सुविधाओं का कारक माना जाता है। हालांकि हीरा धारण करना हर किसी के लिए शुभ नहीं होता है। कहते हैं कि ज्योतिषीय सलाह के बिना हीरा पहनने से इसके नकारात्मक प्रभाव भी मिल सकते हैं, तो आइए जानते हैं कि हीरा (Diamond) किस राशि के लिए पहनना शुभ माना जाता है?
इस राशि को सबसे अधिक सूट करता है हीरा
तुला राशि – तुला राशि के जातकों को हीरा सबसे अधिक सूट करता है, क्योंकि तुला राशि के स्वामी शुक्र देव (Venus) हैं। हीरा शुक्र का रत्न है। जब व्यक्ति अपने स्वामी ग्रह का रत्न धारण करता है, तो वे ग्रह उसे सबसे अधिक सकारात्मक ऊर्जा देता है।
अन्य राशियां – वृषभ (Taurus) राशि के स्वामी भी शुक्र देव हैं, इसलिए इन जातकों के लिए भी हीरा बहुत शुभ होता है। इसके अलावा, मिथुन, कन्या, मकर और कुंभ राशि के जातक भी किसी जानकार ज्योतिषी की सलाह से हीरा धारण कर सकते हैं।
हीरा पहनने के फायदे (Benefits Of Wearing Diamond)
हीरा शुक्र ग्रह को मजबूत करता है, जिससे जातक के जीवन में भौतिक सुख-सुविधाएं और धन-दौलत की कमी नहीं होती है।
साथ ही करियर में स्थिरता आती है।
हीरा पहनने से वैवाहिक जीवन में मधुरता आती है और प्रेम संबंधों मजबूत होते है।
हीरा पहनने से जातक का व्यक्तित्व आकर्षक बनता है, लोग उनसे प्रभावित होते हैं और कलात्मक क्षेत्रों में सफलता मिलती है।
मीडिया, फैशन, एक्टिंग और रचनात्मकता से जुड़े लोगों के लिए हीरा बहुत फलदायी होता है।
हीरा धारण करने के नियम और सावधानियां (Rules And Precautions For Wearing A Diamond)
हीरा हमेशा शुक्रवार के दिन सोने या चांदी की अंगूठी में पहनना चाहिए।
इसे दाएं हाथ की मध्यमा या अनामिका उंगली में धारण करना चाहिए।
कहते हैं कि 21 साल से अधिक उम्र के लोगों को ही हीरा धारण करना चाहिए।
साथ ही किसी जानकार ज्योतिषी की सलाह के बाद ही हीरा धारण करना चाहिए।
हीरा धारण करने से पहले अपनी कुंडली किसी पुरोहित को दिखानी चाहिए, ताकि इसके शुभ फल प्राप्त हो सकें।
Shree Ayodhya ji Shradhalu Seva Sansthan राम धाम दा पुरी सुहावन। लोक समस्त विदित अति पावन ।।